Thursday, June 9, 2011

कहते हैं लोग आजकल

कहते  हैं  लोग  आजकल  की  कुछ  क्यों  नहीं  करते  हो  तुम,
और  हम  हैं  इस  फ़िराक में के वो हमें आजमायें तो||

खुदा का शुक्र हैं की हम उसकी निगाहों में तो हैं,
वरना लोग सोच रहे हैं किसी तरह उसकी नज़र में आयें तो||

देखते हैं और कितना इम्तेहान लेते हैं वो,
हमें ख़ुशी इस में  ही हैं के वो जरा मुस्कराएँ तो||

क्या रखा हैं दुनिया को जीतने में "शफ़क",
मजा तो तब हैं जब वो  नज़रें मिलाएं तो||











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