चल चले लिखें नयी सहर
रात के पिंजरों को तोड़कर
उन नम हम आँखों को खोजे
दे आने वालें उजालों की उन्हें खबर
चल चले लिखें नयी सहर
चंदा मामा से चल ये कहें
रात भर वो यूँ ही क्यों घूमता रहें
आ के रहें बड़े मैदान के पेड़ पर
रात भर हमारा खेल फिर चलता रहें
चल चले लिखें नयी सहर
देख दुनिया ये कितनी रंगीन हैं
तितलियों के पर भी अजीब हैं
पकड़ता हूँ इतिना संभाल के
फिर रंग देते हैं अंगुलियां ये जान के
चल चले लिखें नयी सहर
आवाजों में इतिना रंज क्यों हैं
न जाने इन्हें हर बात का गम क्यों हैं
देख मैंने तो तोड़कर इस पत्ती को
देख लियें हजारं रंग दिल खोल कर
चल चले लिखें नयी सहर
सच में बड़ा हैं ये तेरा शहर
शायद मेरे गाँव से दो चार गज
हर तरफ परेशान से इंसान से
थक गया हूँ समझातें यहाँ मतलब प्यार के
चल चले लिखें नयी सहर
रात के पिंजरों को तोड़कर
उन नम हम आँखों को खोजे
दे आने वालें उजालों की उन्हें खबर
चल चले लिखें नयी सहर
चंदा मामा से चल ये कहें
रात भर वो यूँ ही क्यों घूमता रहें
आ के रहें बड़े मैदान के पेड़ पर
रात भर हमारा खेल फिर चलता रहें
चल चले लिखें नयी सहर
देख दुनिया ये कितनी रंगीन हैं
तितलियों के पर भी अजीब हैं
पकड़ता हूँ इतिना संभाल के
फिर रंग देते हैं अंगुलियां ये जान के
चल चले लिखें नयी सहर
आवाजों में इतिना रंज क्यों हैं
न जाने इन्हें हर बात का गम क्यों हैं
देख मैंने तो तोड़कर इस पत्ती को
देख लियें हजारं रंग दिल खोल कर
चल चले लिखें नयी सहर
सच में बड़ा हैं ये तेरा शहर
शायद मेरे गाँव से दो चार गज
हर तरफ परेशान से इंसान से
थक गया हूँ समझातें यहाँ मतलब प्यार के
चल चले लिखें नयी सहर